Swargvibha
Dr. Srimati Tara Singh
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सफर जब खत्म होना का नाम ना,ले

 

 

सफर जब खत्म होना का नाम ना,ले
सुबह तो खुशी की ले
मगर गमो की शाम,ना ले
हो जाऐगे बदनाम तुम यहा,
अपने लबो से तुम किसी,का नाम ना ले

 

 

 

 

आभिषेक जैन

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