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Dr. Srimati Tara Singh
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प्रेम

 

: प्रेम


पता नहीं प्रेम है या नहीं ?

पर चाहता हूँ

तुम्हारी बाहों में गिर कर

पूरी रात

तारे गिनता रहूँ…


प्रेम यदि अनंत है अपने आप में

तो

प्रेम

उस व्यक्ति को भी अनंत करने की संभावना रखता है

जो प्रेम में है


जानते है अनंतता को गिन नहीं सकते

पर गिन तो सकते है अनंत तक !


प्रेम अनंत है

और प्रेम करते रहना

प्रेम की

एक अनंत संभावना


पता नहीं प्रेम है या नहीं ?

पर चाहता हूँ

तुम्हारी बाहों में गिर कर

पूरी रात

तारे गिनता रहूँ…

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