Swargvibha
Dr. Srimati Tara Singh
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रिश्तों का दर्द

 

आज जब तुमने
रिश्तों के बारे में कहा
तो मुझे लगा
जैसे
मेरे जलते हुए जिस्म से
नायलोन के कपडे को
झटके से खीच लिया गया हो ...
और वहां से
अपनी पूरी ताक़त से बहने लगा हो
रक्त ...पानी ....और
रिश्तों का दर्द .....

 

 

 

रौनक हबीब

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