Swargvibha
Dr. Srimati Tara Singh
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टूटा हूँ मै हाल से अपने

 

टूटा हूँ मै हाल से अपने, जुड़ क्यो नही पाता ।
खुशियो को नजर जामाने की लगी, गमो पर असर क्यो नही होता ।

 

हर दिल मे खुदा बसता है, लबो पर दुआए है।
फिर सबकी दुवाओं का असर क्यो नही होता।

 

 


Sandeep Albela

 

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