तेरे नजदीक आ रहा हुँ मै।
तुझको अपना सा पा रहा हुँ मै।
अपनी दुनियाँ उजाड कर जानम।
दिल की दुनियाँ बसा रहा हुँ मै।
हसरतोँ के हँसीन फुलोँ से।
दिल की बस्ती सजा रहा हुँ मै।
टुट जाये कहीँ न साज़े दिल।
गीत उल्फत के गा रहा हुँ मै।
हो न पायेगी तु जुदा मुझसे।
इतने नजदीक आ रहा हुँ मै।
हाथ मे दिल तेरे थमा कर के।
अपनी मुश्किल बढा रहा हुँ मै।
फुँक डालेगा जो मेरे घर को।
ऐसा दीपक जला रहा हुँ मै।
रात की रात करवटेँ लेकर।
जैसे तैसे बिता रहा हुँ मै।
'शिव'
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