Swargvibha
Dr. Srimati Tara Singh
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राम हमारे राम तुम्हारे

 

राम हमारे राम तुम्हारे            

शिव और ब्रह्मा जी भी            

अयोध्या में खुश हो के पधारे            

नारदादि ऋषियों समेत घूमे              

डगर – डगर द्वारे -द्वारेबोले

मिथ्या जगत है सारा 

किन्तु सत्य हैं आप

ही पूरी सृष्टि प्रकाशित आपसे 

सूर्य – चन्द्र भी आप ही                

आपका दामन जो पकड़े वह                

कभी भी नहीं जीवन में हारे 

होता पुण्य उसी का उदित 

सारे पाप होते उसी के नाश 

रत्ती भर भी जिसके मन में 

होता राम के प्रति विश्वास              

रमे हुए हैं राम सभी में              

राम हमारे राम तुम्हारे            

 – सुखमंगल सिंह 

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