शादी!
युगल समाधि।
जीवंत प्राणों की आहूति
देववाणी, पुष्पों की वर्षा।
जीवन है
जीवन के होने का अर्थ है
गूढ़तम, अभेद्य तिलिस्म सा।
यह तरंगित आत्म
कुछ तो है
अभूतपूर्व।
ये नशा
जो सर चढ़कर बोल रहा
लगता है
साँसों के चलने के भी
गंभीर अर्थ हैं।
अधखुले नेत्रों का
संबंध है घनिष्ठ
अज्ञात से अज्ञात आयाम पे।
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