"सबने सोचा कि...
अभी तक खफ़ा है वो हमसे...
पर सबकी बातों से ज्यादा मुझे...
उनके लौट आने के वादे पर भरोसा है....
सब भरोसे की वजह पूछते है!
अरे पागल!
इसी पागलपन को ही प्यार कहते है..."
-ठाकुर दीपक सिंह कवि
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"सबने सोचा कि...
अभी तक खफ़ा है वो हमसे...
पर सबकी बातों से ज्यादा मुझे...
उनके लौट आने के वादे पर भरोसा है....
सब भरोसे की वजह पूछते है!
अरे पागल!
इसी पागलपन को ही प्यार कहते है..."
-ठाकुर दीपक सिंह कवि
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