Swargvibha
Dr. Srimati Tara Singh
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नसीब ने मेहरबानी का.....कभी सिलसिला ना किया

 

नसीब ने मेहरबानी का.....कभी सिलसिला ना किया
हमने भी तबीयत वो पाई, कभी भी गिला ना किया

 

हमदम की खयालो ने कि धुँधली सूरत तो दिखाई
दर हक़ीक़त वैसा लेकिन कभी कोइ मिला ना किया

 

के ख्वाबों की बे-इंतेहा बारिशो का हुआ ये असर
आँखों ने भी बरसातो का ख़तम काफिला ना किया

 

वैसे तो कहते है जो किया मेरे भले को किया
लेकिन किसी फैसले में कभी भी मुब्तिला ना किया

 

बना के अह्सासो को शीशा,खाते रहे हम पत्थर
दिल पे बेरुखी का लेकिन,कि कभी भी किला ना किया.........विपुल

 

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